संसद सत्र से प्रशनकाल हटाने पर भ’ड़के वरिष्ठ पत्रकार कहा – मोदीजी ऐसा करें आप संसद में लगा दीजिए ताला

देश में कोरो’ना का प्र’कोप थ’मने के नाम नहीं ले रहा है। इसी बीच संसद का संसद का मानसून सत्र बुलाया गया है। महामा’री को देखते हुए लोकसभा और राज्यसभा दोनों की कार्य’वाही में कुछ अहम बदलाव किए गए हैं। इन बदलावों के चलते अब सदन में प्रश्नकाल नहीं होगा। जिसे लेकर विपक्ष के नेताओं समेत कई पत्रकारों ने सवा’ल खड़े किए हैं। वरिष्ठ पत्रकार पुण्य प्रसून वाजपेयी ने भी इसे लेकर एक ट्वीट किया है।

पुण्य प्रसून वाजपेयी ने ट्वीट कर प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी पर तं’ज़ कसते हुए संसद में ताला लगाने की बात कही है। वाजपेयी ने लिखा “बधाई… संसद सजेगी पर Question Hour नहीं होगा। अब संसद में ता’ला लगा दिजिए… जनता चाहती है” वरिष्ठ पत्रकार के इस ट्वीट पर यूजर्स उन्हें ट्रो’ल करने लगे। एक ट्रो’ल ने लिखा “संसद का ये सत्र आवश्‍यक विधायी कार्य के लिए बुलवाया जा रहा है। शून्यकाल में भी विभिन्‍न विषयों से सम्‍बंधित अति-आवश्‍यक एवं महत्‍वपूर्ण प्रश्‍न पुछे जा सकते है। वहीं रही बात ताला लगाने की तो महा’शय आप इसे कृपया कर अपने मुंह पर लगाईए नहीं तो स’च में ही बहुत क्रां’तिका’री हो जाएगा।

एक ने लिखा “देश’भ’क्त जनता तो चाहती है पैसो के लिए झु’ठ प्रो’पागं’डा और देश बे’च देने वाले इटा’लियन गुला’मों को गो’ली मा’रना चाहिए लेकिन ग’द्दार को भी गो’ली मा’रना का’नुन’न अपरा’ध लेकिन उसी का’नून को इ’स्ला’मिक जे’हाद मानते नही है और का’नुन कैसे मानेगे इसका मंत्र तो यो’गी जी के पास है।”

पर’शुराम नाम के एक यूजर ने लिखा “आपको बे’रोजगार होने का खत’रा स’ता रहा है क्योंकि आपको फाल’तू की बह’स सुनाकर चैन’ल को व्यस्त करके रखना है जबकि सबको पता है जिस घर का मु’खिया योग्य और समझदार है सही समय पर उचित फैसला लेने में पूर्ण स’क्षम है उस घर की छ’वी बहुत बेहतर होती है अयो’ग्य मुखिया पत’न का कारण है।”

एक यूजर ने पुण्य प्रसून वाजपेयी का साथ देते हुए लिखा “अब संसद में भी नही पूछ सकते है ऐसे भारत देश की कल्पना किसी ने भी नही की होगी। ये लोकतंत्र की कीमत ये क्या जाने,हमारे स्वन्त्र’ता से’नानि’यों के त्या’ग ब’लि’दान स’मर्प’ण ,से हमे ये लोकतं’त्र मिला है।ये क्या जाने जिनका इसमें कोई योगदान ही नहीं।”

बता दें शू’न्य काल और अन्य कार्य’वाही अनुसूची के अनु’सार आयोजित की जाएगी। संसद के मानसून सत्र का आयोजन 14 सितंबर से 1 अक्टूबर तक होगा। मानसून सत्र में भाग लेने वालों को आवश्यक कोरो’नो वाय’रस प्रोटो’कॉल का पालन करना होगा, जिसमें 72 घंटों के भी’तर को’विड-19 का परीक्ष’ण करना भी शामिल है।